December 27, 2024 7:45 pm

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नर्मदापुरम में मिशनरी संस्था पर यौन शोषण के जरिए मतांतरण का आरोप

नर्मदापुरम। मध्य प्रदेश में नर्मदापुरम जिले के इटारसी में संचालित एक मिशनरी संस्था पर ग्रूमिंग और यौन शोषण के माध्यम से मतांतरण के षड्यंत्र का सनसनीखेज आरोप लगा है। राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के पूर्व अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो का कहना है कि नाबालिग लड़की के साथ दुष्कर्म के मामले में संस्था ने सिर्फ इसलिए एफआईआर नहीं कराई, क्योंकि उनका उद्देश्य मतांतरण था।

प्रियंक कानूनगो ने शुक्रवार को इंटरनेट मीडिया एक्स पर पोस्ट डाली, जिसमें उन्होंने लिखा कि यौन शोषण और ग्रूमिंग मतांतरण का जरिया है। नर्मदापुरम में ईसाई मिशनरियों द्वारा संचालित अनाथ आश्रम में रहने वाली एक निराश्रित हिंदू बालिका को एक ईसाई लड़का वहां से अपहरण कर ले गया।

मतांतरण के उद्देश्य से की गई मिलीभगत के कारण संस्था ने एफआइआर नहीं लिखाई। दो दिन बाद लड़की के मिल जाने पर गैरकानूनी ढंग से लड़की की सुपुर्दगी का पंचनामा बनाकर उसे दुष्कर्मी लड़के की बहन को सौंप दिया गया। चार दिन बाद ईसाई लड़का उस हिंदू बच्ची को वहां से अपने घर ले गया।

एक सप्ताह तक बंधक बनाकर दुष्कर्म किया। बातचीत में प्रियंक कानूनगो ने आरोप लगाया कि पूरे मामले में जिला प्रशासन और कलेक्टर-एसपी की लापरवाही रही। यह मानव तस्करी से भी जुड़ा प्रकरण है। अधिकारियों ने तुष्टीकरण के चलते संस्था को बचाने का प्रयास किया।

हमारी संस्था को मिशनरी बताया गया। मतांतरण के झूठे आरोप लगाए गए हैं। मामले में संस्था की ओर से किसी तरह की चूक नहीं हुई है। सीडब्ल्यूसी सदस्यों की ही लापरवाही है। संस्था ने वही किया, जो कमेटी कहती रही। 

किशोरी की शिकायत पर आरोपित के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। इससे पहले भी किशोरी दुष्कर्म का एक मामला दर्ज करा चुकी है। संस्था की सुपरवाइजर पर अपराध दर्ज हुआ है। विवेचना में आए तथ्यों के आधार पर कार्रवाई होगी।
 

Khabar 30 Din
Author: Khabar 30 Din

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