जयसिंहनगर अस्पताल का जन्म प्रमाण पत्र अब नया “लॉटरी टिकट” बन गया है। बुजुर्ग बोले 1500 रुपए देकर भी एक माह में नहीं मिला दस्तावेज। वीडियो वायरल होते ही लोग मज़ाक उड़ाने लगे कि अस्पताल अब स्वास्थ्य नहीं, मनोरंजन का केंद्र बन गया है।
शहडोल। जिले के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जयसिंहनगर के कंप्यूटर ऑपरेटर विजय दुबे इन दिनों चर्चा के केंद्र बने हुए हैं। वजह है एक जन्म प्रमाण पत्र, जिसे उन्होंने कथित तौर पर “लॉटरी टिकट” बना डाला। सोमवार शाम वायरल हुए वीडियो की पुष्टि खबर 30 दिन नहीं करता है। बहरहाल वायरल वीडियो में एक बुजुर्ग साफ-साफ कहते नजर आ रहे हैं कि विजय ने 1500 रुपए वसूले, लेकिन दस्तावेज़ का कोई अता-पता नहीं है। बुजुर्ग का तंज था। “जितने चक्कर अस्पताल के काटे हैं, उतने में तो बाइक का पेट्रोल भरवा लेता।” पीड़ित बुजुर्ग का कहना है कि वे कई बार अस्पताल का चक्कर लगा चुके हैं और अब तक दस्तावेज उन्हें नहीं मिला है। उन्होंने बताया कि लगातार आने-जाने में उनका लगभग चार सौ रुपए खर्च हो चुका है। वीडियो में बुजुर्ग साफ तौर पर कह रहे हैं कि ऑपरेटर ने पैसे लेकर भी काम नहीं किया, जिससे वे परेशान हैं।
ऑडियो-वीडियो के बाद अब जनता को चाहिए डॉक्यूमेंट्री
अस्पताल के जन्म प्रमाण पत्र को “लॉटरी टिकट” बना देने के आरोप ने अब मनोरंजन का रूप ले लिया है। पहले ऑडियो वायरल हुआ, फिर वीडियो सामने आया और अब स्थानीय लोग कह रहे हैं कि अगला सीज़न डॉक्यूमेंट्री ही होना चाहिए। पीड़ित बुजुर्ग का कहना है कि जब तक उसे न्याय नहीं मिलेगा, वह अपनी कहानी गली-गली सुनाएगा। वहीं स्थानीय लोग भी इस ‘सीरीज’ के अगले एपिसोड का इंतजार कर रहे हैं। पहले ऑडियो आया, फिर वीडियो अब शायद चौथा भाग “डॉक्यूमेंट्री” के रूप में रिलीज़ हो।
अस्पताल प्रबंधन पर खड़े हो रहे सवाल
वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होते ही अस्पताल प्रबंधन और स्वास्थ्य विभाग की कार्यशैली पर सवाल खड़े हो रहे हैं। लोग कहने लगे कि अब तो जन्म प्रमाण पत्र भी लॉटरी की तरह है। किस्मत हुई तो मिलेगा, वरना अगली बार फिर प्रयास कीजिए। स्थानीय लोगों का कहना है कि इस तरह की घटनाएं अस्पताल की छवि को धूमिल करती हैं और मरीजों तथा आम नागरिकों के लिए अतिरिक्त परेशानी खड़ी करती हैं। वहीं लोग उम्मीद कर रहे हैं कि इस “कंप्यूटर वाले चमत्कारी हाथ” की जांच होगी। फिलहाल जनता को लग रहा है कि जन्म प्रमाण पत्र मिलना अब उतना ही कठिन है, जितना रेलवे की तत्काल टिकट पाना।
वरिष्ठ अधिकारियों से पारदर्शी जांच की उम्मीद
वीडियो वायरल होने के बाद स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन से फिलहाल जनता उम्मीद कर रही है कि वे इस प्रकरण की पारदर्शी जांच कर “कंप्यूटर जादूगर” सहित जिम्मेदारों पर कार्रवाई करें। पीड़ित का कहना है कि जब तक उसे न्याय नहीं मिलता, वह अपनी बात जनप्रतिनिधियों और प्रशासन तक पहुंचाता रहेगा। वहीं पीड़ित के साथ स्थानीय लोगों ने भी ऑडियो के बाद वीडियो सामने के बाद अस्पताल प्रबंधन सहित वरिष्ठ अधिकारियों से जांच की उम्मीद पारदर्शी तरीके से हो लगाएं हुए है और दोषी कर्मचारी पर कठोर कार्रवाई की मांग की है।
