दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट में बुधवार को लंबी बहस चली। दोनों तरफ से कई दलीलें दीं गईं। जस्टिस स्वर्णकांता शर्मा की अदालत में ईडी की तरफ से पेश हुए एएसजी एसवी राजू ने कहा कि शराब घोटाला हुआ है इस तथ्य संदेह से परे हैं।
पैसों की बरामदगी नहीं होने को लेकर भी केंद्रीय जांच एजेंसी ने पहली बार स्पष्ट जवाब दिया है। ईडी ने समझाया कि लाश नहीं मिलने पर भी मर्डर केस में दोषी करार दिया जाता है।
ईडी के वकील ने कहा कि आरोप लगाया जाता है कि हमने (केजरीवाल की गिरफ्तारी) चुनाव की वजह से किया। लेकिन यह सब बहुत पहले से चल रहा था। चुनाव के वक्त नहीं हुआ है। यह सिर्फ कोर्ट को असली मुद्दे से भटकाने के लिए किया जा रहा है। ऐसा नहीं है कि ईडी अभी ऐक्टवि हो गई है। ईडी कई सालों से ऐक्टिव है। उन्होंने कहा कि बड़ी मात्रा में डिजिटल सबूत नष्ट कर दिए गए। आप समय समय पर अपना मोबाइल नहीं बदलते। आप बिचौलिए के जरिए काम करते हैं और तस्वीर में नहीं आते। कहते हैं कि मैंने कुछ नहीं किया। आपने बहुत चालाकी से किया है, लेकिन हमने सब उजागर कर दिया है।
पैसों की बरामदगी से जुड़े सवालों को जवाब देते हुए ईडी ने कहा कि यदि हम साबित कर देते हैं कि आप मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल हैं तो बरामदगी प्रासंगिक नहीं। राजू ने कहा, ‘तर्क दिया जाता है कि मेरे घर से तो कुछ नहीं मिला। लेकिन आपने किसी और को दे दिया तो कहां से मिलेगा आपके घर में से।’ एएसजी ने अपनी बात को समझाते हुए कहा, ‘योर ऑनर आप इस बात से अवगत हैं कि बहुत से केसों में शव बरामद नहीं होते, लेकिन मुकदमा चलता है और दोष भी साबित होता है। इसका मतलब यह नहीं कि हत्या नहीं हुई।’
इससे पहले मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की ओर से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश हुए वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने अपनी दलीलें रखीं। उन्होंने कहा गिरफ्तारी को गलत बताते हुए इसे लोकसभा चुनाव से जोड़ने की कोशिश की। उन्होंने टाइमिंग पर सवाल उठाते हुए कहा कि चुनाव में हिस्सा लेने से रोकने और बदनाम करने के लिए उनके मुवक्किल को गिरफ्तार किया गया है। सिंघवी ने एक बार फिर दावा किया कि ईडी ने दबाव डालकर आरोपियों और गवाहों से केजरीवाल के खिलाफ बयान दिलाए गए। उन्होंने यह भी कहा कि केजरीवाल के खिलाफ ईडी के पास कोई सबूत नहीं है।