दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा है कि वह रविवार को दोपहर 3 बजे आत्मसमर्पण करने के लिए अपने घर से निकलेंगे, क्योंकि दिल्ली शराब घोटाला मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा उन्हें दी गई अंतरिम जमानत समाप्त हो रही है।
केजरीवाल ने आज एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि, “परसों मैं दोपहर करीब तीन बजे आत्मसमर्पण करने के लिए अपने घर से निकलूंगा। हम तानाशाही के खिलाफ लड़ रहे हैं और अगर मुझे देश के लिए अपनी जान भी देनी पड़े तो शोक मत मनाइए।”
केजरीवाल ने कहा कि 50 दिनों की जेल अवधि के दौरान उनका स्वास्थ्य काफी खराब हो गया, जिसके चलते उनका वजन काफी कम हो गया और स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां बनी रहीं। उन्होंने यह भी दावा किया कि उन्हें शुगर की दवा भी नहीं दी गई। उन्होंने दावा किया कि, “मैं 50 दिनों तक जेल में था और इन 50 दिनों में मेरा वजन 6 किलो कम हो गया, रिहा होने के बाद भी मेरा वजन दोबारा नहीं बढ़ा है।” उन्होंने बताया कि डॉक्टर अब उनके स्वास्थ्य को लेकर चिंतित हैं। हालाँकि, केजरीवाल के इन दावों को तिहाड़ जेल में पूरी तरह ख़ारिज कर दिया है। तिहाड़ जेल ने आधिकारिक मेडिकल रिपोर्ट जारी करते हुए कहा है कि, केजरीवाल को जेल लाने के वक़्त उनका वजन 65 किलो था, जो बीच में 66 हो गया और फिर उनके जमानत पर बाहर निकलने के वक़्त उनका वजन 64 किलो था। यानी केजरीवाल का केवल 1 kg वजन कम हुआ है।
हालाँकि, केजरीवाल अब भी वजन घटने का दावा कर रहे हैं और कोर्ट से इसी आधार पर जमानत मांग रहे हैं। केजरीवाल ने आगे कहा कि इन चुनौतियों के बावजूद दिल्ली के लोगों का कल्याण मेरी सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने वादा किया कि मुफ्त बिजली, मोहल्ला क्लीनिक, अस्पताल, मुफ्त दवाइयां और महिलाओं की मुफ्त बस यात्रा जैसी आवश्यक सेवाएं और पहल निरंतर जारी रहेंगी। उन्होंने कहा, “भले ही मैं आपके बीच नहीं रहूँगा, लेकिन चिंता मत करो। आपका सारा काम चलता रहेगा। मैं भले ही शारीरिक रूप से आपके साथ न रहूँ, लेकिन आपका काम नहीं रुकेगा।”
केजरीवाल ने अपने बुजुर्ग माता-पिता की कुशलता के लिए भी भावुक अपील की तथा जनता से आग्रह किया कि वे उनके लिए प्रार्थना करें।उन्होंने कहा, “मेरे माता-पिता बहुत बुजुर्ग हैं। अगर आप मेरी मां के लिए रोजाना प्रार्थना करेंगे तो वह निश्चित रूप से स्वस्थ रहेंगी।” दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल को प्रवर्तन निदेशालय ने 21 मार्च को दिल्ली शराब नीति से जुड़े भ्रष्टाचार के एक मामले में गिरफ्तार किया था।
जांच एजेंसी का दावा है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री ने अब रद्द हो चुकी नीति का मसौदा तैयार करने और शराब लाइसेंस के बदले रिश्वत या किकबैक मांगने में अहम भूमिका निभाई थी। एजेंसी ने दावा किया है कि आप को 100 करोड़ रुपये की किकबैक मिली थी जिसका इस्तेमाल गोवा और पंजाब चुनाव अभियानों के लिए किया गया था। AAP और केजरीवाल ने सभी आरोपों से इनकार किया है और गिरफ्तारी और मामले को “राजनीतिक प्रतिशोध” बताया है, क्योंकि यह चुनाव से कुछ सप्ताह पहले हुआ है। इस गिरफ्तारी ने सत्तारूढ़ भाजपा और विपक्षी दल इंडिया ब्लॉक के बीच राजनीतिक विवाद को भी जन्म दिया है, जिसका नेतृत्व कांग्रेस करती है और AAP भी इसका सदस्य है।